'शूद्रों का इतिहास' डॉ. भीमराव अंबेडकर द्वारा रचित एक महत्वपूर्ण ग्रंथ है, जिसमें उन्होंने शूद्रों की उत्पत्ति, उनकी सामाजिक स्थिति और इतिहास का विश्लेषण किया है। इस पुस्तक में भारतीय समाज में शूद्रों के प्रति किए गए अन्याय और भेदभाव को उजागर किया गया है। डॉ. भीमराव अंबेडकर एक महान समाज सुधारक, विधिवेत्ता और भारतीय संविधान के मुख्य निर्माता थे। उन्होंने दलितों और शोषित वर्गों के अधिकारों के लिए संघर्ष किया। अंबेडकर ने शिक्षा, सामाजिक न्याय और समानता के सिद्धांतों को बढ़ावा दिया। वे भारतीय समाज के प्रमुख प्रेरणास्त्रोत और आदर्श व्यक्तित्व थे।
शूद्रों का इतिहास
डॉ. भीमराव अम्बेडकर